(Kaminka Ekadashi 2023)
हिन्दू पंचांग के अनुसार, चातुर्मास वर्तमान समय में चल रहा है, जिसका अर्थ है कि चार महीने तक भगवान विष्णु योग निद्रा में रहेंगे। चातुर्मास की अवधि में पूजा-पाठ, व्रत आदि का विशेष महत्व होता है। सावन मास के कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि के दिन चातुर्मास का दूसरा और सावन का पहला एकादशी व्रत, यानी कामिका एकादशी व्रत रखा जाता है। इस दिन भगवान विष्णु की उपासना करने से साधक के सभी कार्य सिद्ध हो जाते हैं और व्यक्ति को कुयोनि मुक्ति मिलती है।
कामिका एकादशी 2023 तिथि एवं शुभ मुहूर्त (Kamika Ekadashi 2023 Tithi avm shubh Muhurt}
हिन्दू पंचांग के अनुसार, श्रावण मास के कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि: 12 जुलाई 2023, बुधवार, शाम 05:59 बजे से प्रारंभ होगी।
यह तिथि 13 जुलाई 2023, गुरुवार, शाम 06:24 बजे तक रहेगी। उदयातिथि के आधार पर कामिका एकादशी व्रत 13 जुलाई 2023, गुरुवार, का किया जाएगा।
कामिका एकादशी 2023 के लिए पूजा मुहूर्त :
सुबह का मुहूर्त: 13 जुलाई को सुबह 05:32 बजे से सुबह 07:16 बजे तक।
दोपहर का मुहूर्त: 13 जुलाई को सुबह 10:43 बजे से दोपहर 03:45 बजे तक।
अभिजित मुहूर्त: 13 जुलाई को 11:59 एएम से 12:54 पीएम तक।
कामिका एकादशी व्रत का महत्व
सभी एकादशी व्रत में श्रावण कृष्ण पक्ष की एकादशी व्रत का विशेष महत्व बताया गया है। एक बार युधिष्ठिर ने भगवान श्रीकृष्ण से श्रावण कृष्ण एकादशी के बारे में जानने की इच्छा व्यक्त की थी, और भगवान ने उन्हें बताया कि इसे कामिका एकादशी कहते हैं. इस व्रत का महत्व प्राचीन पुराणों में उल्लेखित है । कामिका एकादशी व्रत को करने से व्यक्ति पाप मुक्त हो जाता है और उन्हें विष्णु कृपा से मोक्ष की प्राप्ति होती है. इस एकादशी व्रत का महत्व तीर्थों में स्नान करने के समान है, और जो व्यक्ति कामिका एकादशी व्रत का पालन करता है, उसे तीर्थ स्नान के पुण्य का लाभ मिलता है.
कामिका एकादशी व्रत रखने से धार्मिक मान्यताओं के अनुसार जीवन में आ रही बाधाएं दूर हो जाती हैं। इस विशेष दिन पर भगवान विष्णु को समर्पित व्रत के साथ-साथ पितरों का आशीर्वाद भी प्राप्त होता है। इस दिन दान-धर्म का भी विशेष महत्व बताया गया है, और इस दिन किसी जरूरतमंद व्यक्ति को अन्न, धन, या वस्त्र का दान करने से साधक को मोक्ष की प्राप्ति होती है। तुलसी पूजन भी इस विशेष दिन पर महत्वपूर्ण है, लेकिन एकादशी के दिन तुलसी का स्पर्श भूलकर भी नहीं करना चाहिए, क्योंकि ऐसा करने से माता लक्ष्मी नाराज हो सकती हैं।